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हाई कोर्ट ने हरियाणा के युवाओं को दिया बड़ा झटका, रद्द की ये भर्ती

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हाई कोर्ट ने हरियाणा के युवाओं को दिया बड़ा झटका, रद्द की ये भर्ती

हरियाणा में खाद्य पदार्थों व दवाओं की गुणवत्ता की जांच के लिए पहले से अधिकारियों की कमी है, अब नई भर्तियों पर भी तलवार लटकती दिख रही है। 2 साल से चल रही 26 ड्रग कंट्रोलर ऑफिसर (डीसीओ) की भर्ती लगभग पूरी होने वाली थी, पर नियमों में उलझने के कारण हाई कोर्ट ने रद्द कर दी है।

वहीं, 2 साल बाद की जा रही 41 फूड सेफ्टी ऑफिसर (एफएसओ) की भर्ती के लिए आवेदन प्रक्रिया पूरी होते ही नियमों को लेकर आपत्तियां आने लगी हैं। ऐसे में फूड एंड ड्रग विभाग सेंपलिंग के लिए पशुपालन विभाग के डॉक्टर डेपुटेशन पर लेगा। राज्य में खाद्य पदार्थों के हर साल औसत 26% सैंपल फेल मिल रहे हैं।

एफएसओ के 46 पद स्वीकृत, सीधी भर्ती वाले 3 ही

प्रदेश में फूड एंड ड्रग डिपार्टमेंट में एफएसओ के 46 पद स्वीकृत हैं। जबकि आबादी के अनुसार 75 की जरूरत है। लेकिन सीधी भर्ती से आए सिर्फ 3 एफएसओ नौकरी कर रहे हैं। 11 एमबीबीएस डॉक्टर डेपुटेशन पर लिए हुए हैं। इन्हीं के भरोसे खाद्य सुरक्षा हो रही है। यानी एक-एक एफएसओ के पास 2-3 जिले हैं।

बड़ी बात यह है कि जिले में डेजिगनेटेड ऑफिसर (डीओ) सिर्फ 5 हैं, जो दूषित खाना मिलने या सैंपल फेल होने पर कार्रवाई करते हैं। एक-एक डीओ के पास चार से पांच जिले हैं। ऐसे में समय पर कार्रवाई तक नहीं हो पा रही है।

भर्ती होने के बाद एफएसओ की कमी पूरी होगी

अभी भर्ती प्रक्रिया चल रही है। कुछ आपत्तियां आ रही हैं, लेकिन हमने नियमानुसार एचपीएससी को भर्ती की सिफारिश की है। इनकी भर्ती होने के बाद एफएसओ की कमी पूरी होगी। साॅफ्टवेयर से भी काफी हद तक निगरानी रखी जा सकेगी